यूनिवर्सिटी ऑफ पेनसिल्वेनिया के असिस्टेंट प्रोफेसर ने दोपहर में नींद की झपकी को सेहत के लिए फायदेमंद बताया है. उन्होंने कहा, 'दोपहर में सोने से काम में ज्यादा मन लगता है. मूड फ्रेश रहता है. शोधकर्ताओं का मनना है कि इससे इम्यूनिटी भी मजबूत होती है. इसके अलावा दिल से संबंधी बीमारी होने का खतरा भी कम होता है.'
हालांकि, दोपहर के समय में नींद लेने से आपको रात में सोने में दिक्कत हो सकती है. इसलिए आपके लिए ये जानना जरूरी है कि दिन में कितने समय के लिए सोना चाहिए.
- कितने समय के लिए सोएं
दिन के समय में 15 से 30 मिनट की झपकी ले सकते हैं. अगर इसके बाद भी आपको नींद आए तो बेहतर होगा कि पूरे 90 मिनट की नींद लें. क्योंकि नींद पूरी न होने से आप पहले से ज्यादा थकान और सिर दर्द महसूस कर सकते हैं. लेकिन 90 मिनट की नींद लेने से आपको थकान का एहसास नहीं होगा और आप अपने काम को बेहतर तरीके से कर सकेंगे.
वर्कआउट और नींद
शोधकर्ताओं का मानना है कि वर्कआउट करने के फौरन बाद सोने से बचें. एक्सरसाइज करने के कम से कम 2 घंटे बाद ही सोएं. दिन में अगर सोने की आदत है तो सोने का एक समय तय कर लें.
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- सभी के लिए दिन में नींद की झपकी लेना जरूरी नहीं है
अगर आपको दिन में नींद नहीं आती है तो दिन में सोने से बचें. एक स्टडी कि रिपोर्ट में इस बात की पुष्टि हो चुकी है कि लगभग 50 फीसदी लोगों को दोपहर में सोने से ज्यादा फायदा नहीं होता है. इन लोगों में सरकेडियन रिदम होता है. सरकेडियन रिदम शरीर को बताती है कब सोना है, कब उठना है. अगर आपको दिन के समय में नींद नहीं आती है तो इससे ये पता चलता है कि आपके शरीर को आराम की जरूरत नहीं है.